सुधीर अस्थाना
(मेहनगर) आजमगढ़ । स्थानीय तहसील क्षेत्र के करनेहुवां गांव में बने मिनी सचिवालय का अधूरा निर्माण कराकर जनता के धन का पूरी तरह से दुरूपयोग किया जा रहा है। इस सचिवालय भवन में  ग्राम के छुट्टा पशु बैठक  कर रहे हैं। ग्रामीणों का कहना है कि लगभग 10 वर्ष पहले मिनी सचिवालय के रूप में यह बनाया गया था। आज तक कोई भी ग्राम का कार्य यहाँ से नहीं किया गया है।  
जबकि यह जीर्ण अवस्था में आ चुका है। शासन की मंशा है कि हर गांव में  मिनी सचिवालय, पंचायत भवन और सामुदायिक शौचालय की व्यवस्था की जाए। लेकिन यहाँ सब हवा हवाई दिख रहा है । मिनी सचिवालय में छुट्टा पशु घूम फिर कर के उसी में रहते हैं। ग्रामीणों ने कहा कि पूर्व प्रधान रमेश राजभर की देखरेख में यह बनाया गया है । पूर्व प्रधान रमेश राजभर ने बताया 2014-15 में निर्माण कार्य हुआ था, जिसकी लागत लगभग 6:30 लाख मुझे जानकारी है । ठेकेदार द्वारा कार्य कराया गया । पैसे के लिए मुझसे केवल दस्तखत कराने आते थे । ठेकेदार का नाम मुझे याद नहीं, पूर्व प्रधान रमेश राजभर ने कहा कि शौचालय का भी कार्य पूर्ण नहीं हुआ, जिसकी शिकायत मैने लिखित रूप से किया लेकिन कोई उचित कार्यवाही नहीं हुई । आज तक इस मिनी शौचालय में कोई मीटिंग भी नहीं हुई है । मजे की बात यह है कि प्रधान जी पैसे के लिए हस्ताक्षर कर देते थे, किन्तु यह देखने की कोशिश कभी नहीं करते थे, कि निर्माण कार्य मानदण्डों के अनुरूप हो रहा है अथवा नहीं। दूसरे इस भवन का उपयोग ग्राम सचिवालय के रूप में क्यों नहीं किया गया। ग्राम के आदित्य सिंह, दिवाकर सिंह, नीरज गोड, सुनील वर्मा ,राज बहादुर सिंह ,राम बकस, सूर्यभान मौर्या सहित दर्जनों लोगों ने मांग किया है कि सरकार इस मिनी सचिवालय को की मरम्मत कराने का कार्य करें, ताकि इस मिनी सचिवालय में प्रधान अपना कार्य बैठकर कर सकें ।