महराजगंज, आजमगढ़। गम का महीना मोहर्रम की दस तारीख़ को यौमे आशूरा कहा जाता है जोकि 29 जुलाई को मनाया गया। मोहर्रम की नवीं व दसवीं तारीख़ शुक्रवार और शनिवार को कस्बा सहित आसपास के विभिन्न क्षेत्रों में शिया व सुन्नी समुदाय के लोगों ने ताजिये का भव्य जुलूस निकाला गया। ताजिये का ऐतिहासिक जुलूस अपने पूर्वनिर्धारित रास्तों से गुज़रता हुआ वाक़्याते क़र्बला पर आधारित अक़ीदत के साथ नदी मोहल्ला से निकलकर पुराना चौक, नगर पंचायत रोड, पं लक्ष्मीकांत चौक, भैरव बाबा तिराहा के रास्ते से होता हुआ क़र्बला पहुंचकर मातम के साथ शहीदाने कर्बला को याद किया। देर शाम तक कार्यक्रम चलता रहा। बतादें कि दसवीं मोहर्रम को प्रतिवर्ष की तरह क्षेत्र के विभिन्न मोहल्लों से शिया व सुन्नी समुदाय के ताजिये का जुलूस निकाला गया इस दौरान सभी अंजुमनो ने वाक़्याते क़र्बला पर आधारित शहीदों को सच्ची खिराजे अक़ीदत पेश किया। मोहर्रम के जुलूस को सकुशल सम्पन्न कराने के उद्देश्य से स्थानीय पुलिस प्रशासन तैनात रहा। थाना निरीक्षक संजय सिंह अपने हमराहीयों के साथ लगातार क्षेत्र का चक्रमण कर अराजक तत्वों पर पैनी निगाह रखे हुए थे सभी इमामबाड़ों व इमाम चौकों पर पुलिस तैनात रही। संवेदनशील स्थानों पर सीसीटीवी कैमरे से निगरानी की जा रही थी ताकि अराजक तत्वों को चिन्हित किया जा सके।